बिजनेस डेस्कः इन दिनों लहसुन की कीमतें सातवें आसमान पर हैं। लहसुन के बाद अब प्याज भी लोगों को रुलाने के लिए तैयार है। नासिक के लासलगांव की मंडी में प्याज की औसत थोक कीमतें सोमवार को अचानक 40 फीसदी बढ़ गईं।
यहां प्याज की औसत कीमत शनिवार के 1,280 रुपए प्रति क्विंटल से बढ़कर सोमवार को 1,800 रुपए प्रति क्विंटल हो गईं। सोमवार को दिन के दौरान लगभग 10,000 क्विंटल प्याज की नीलामी की गई। न्यूनतम थोक मूल्य 1,000 रुपए और अधिकतम 2,100 रुपए प्रति क्विंटल दर्ज किए गए। एपीएमसी के एक अधिकारी ने कहा कि प्याज निर्यातकों ने विदेशी बाजारों में बेचने के लिए प्याज खरीदना भी शुरू कर दिया है।
खुदरा बाजारों का हाल
खुदरा बाजारों की बात करें तो अभी देश में प्याज का औसत भाव 32.26 रुपए प्रति किलो है। हालांकि, कहीं 15 रुपए तो कहीं 80 रुपए किलो भी बिक रहा है। वैसे अधिकतर शहर-कस्बों में 25 से 30 रुपए किलो है। उपभोक्ता मंत्रालय की वेबसाइट पर दिए गए आंकड़ों के मुताबिक सोमवार को मिजोरम में प्याज की औसत खुदरा कीमत 69.45 रुपए प्रति किलो रही। हरियाणा में 40.25 रुपए, चंडीगढ़ में 37 रुपए, राजस्थान में 36.72 रुपए, गुजरात में 34.67 रुपए और उत्तर प्रदेश में 29.45 रुपए किलो बिका।
प्याज के निर्यात पर प्रतिबंध से गिरे थे भाव
पिछले साल 7 दिसंबर को, घरेलू बाजारों में मांग को पूरा करने और थोक कीमतों को स्थिर करने के लिए केंद्र ने 31 मार्च, 2024 तक प्याज के निर्यात पर प्रतिबंध लगा दिया था। इसके बाद, पिछले ढाई महीनों में औसत थोक प्याज की कीमतें 67 फीसदी कम हो गईं। पिछले साल 6 दिसंबर को 3,950 रुपए प्रति क्विंटल थीं और 17 फरवरी को 1,280 रुपए प्रति क्विंटल पर आ गईं।
क्यों बढ़ा भाव
प्याज के निर्यात पर प्रतिबंध वापस लेने के केंद्र के फैसले की घोषणा के एक दिन बाद ही प्याज के दाम उछल गए। हालांकि केंद्र सरकार ने अभी तक निर्यात पर बैन वापस लेने की औपचारिक अधिसूचना जारी नहीं की है लेकिन केंद्रीय मंत्री भारती पवार ने कहा है कि यह निर्णय गृह मंत्री के अमित शाह नेतृत्व में केंद्र सरकार के मंत्रियों के समूह की बैठक में लिया गया था। एपीएमसी के एक अधिकारी ने कहा कि इस घटनाक्रम का देश के सबसे बड़े थोक प्याज बाजार लासलगांव में औसत कीमतों पर प्रभाव पड़ा।